197669 एक संधारित्र जिनकी धारिता \(C_1 = 1\ \mu F\) है, अधिकतम \(V_1 = 6\ kV\) विभव सहन कर सकता है, तथा दूसरा संधारित्र जिसकी धारिता \(C_2 = 3 \ \mu F\) है, अधिकतम \(V_2 = 4 \,kV\) विभव सहन कर सकता है। यदि इन दोनों संधारित्रों को श्रेणीक्रम में जोड़ा जाये तो यह निकाय जिस विभव को सहन करेगा उसका मान......\(kV\) है
197670 एक संधारित्र की प्लेटों को \(320 \, volts\) के विभवान्तर से आवेशित करके एक प्रतिरोध द्वारा विसर्जित कराया जाता है। संधारित्र पर विभवान्तर समय के साथ चरघातांकी रूप से घटता है। यदि \(1\) सैकण्ड पश्चात् प्लेटों के मध्य विभवान्तर \(240\, volts\) रह जाता है तो \(2\) और \(3\) सैकण्डों पश्चात् प्लेटों के मध्य विभवान्तर क्रमश: होगा
197669 एक संधारित्र जिनकी धारिता \(C_1 = 1\ \mu F\) है, अधिकतम \(V_1 = 6\ kV\) विभव सहन कर सकता है, तथा दूसरा संधारित्र जिसकी धारिता \(C_2 = 3 \ \mu F\) है, अधिकतम \(V_2 = 4 \,kV\) विभव सहन कर सकता है। यदि इन दोनों संधारित्रों को श्रेणीक्रम में जोड़ा जाये तो यह निकाय जिस विभव को सहन करेगा उसका मान......\(kV\) है
197670 एक संधारित्र की प्लेटों को \(320 \, volts\) के विभवान्तर से आवेशित करके एक प्रतिरोध द्वारा विसर्जित कराया जाता है। संधारित्र पर विभवान्तर समय के साथ चरघातांकी रूप से घटता है। यदि \(1\) सैकण्ड पश्चात् प्लेटों के मध्य विभवान्तर \(240\, volts\) रह जाता है तो \(2\) और \(3\) सैकण्डों पश्चात् प्लेटों के मध्य विभवान्तर क्रमश: होगा
197669 एक संधारित्र जिनकी धारिता \(C_1 = 1\ \mu F\) है, अधिकतम \(V_1 = 6\ kV\) विभव सहन कर सकता है, तथा दूसरा संधारित्र जिसकी धारिता \(C_2 = 3 \ \mu F\) है, अधिकतम \(V_2 = 4 \,kV\) विभव सहन कर सकता है। यदि इन दोनों संधारित्रों को श्रेणीक्रम में जोड़ा जाये तो यह निकाय जिस विभव को सहन करेगा उसका मान......\(kV\) है
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197669 एक संधारित्र जिनकी धारिता \(C_1 = 1\ \mu F\) है, अधिकतम \(V_1 = 6\ kV\) विभव सहन कर सकता है, तथा दूसरा संधारित्र जिसकी धारिता \(C_2 = 3 \ \mu F\) है, अधिकतम \(V_2 = 4 \,kV\) विभव सहन कर सकता है। यदि इन दोनों संधारित्रों को श्रेणीक्रम में जोड़ा जाये तो यह निकाय जिस विभव को सहन करेगा उसका मान......\(kV\) है
197670 एक संधारित्र की प्लेटों को \(320 \, volts\) के विभवान्तर से आवेशित करके एक प्रतिरोध द्वारा विसर्जित कराया जाता है। संधारित्र पर विभवान्तर समय के साथ चरघातांकी रूप से घटता है। यदि \(1\) सैकण्ड पश्चात् प्लेटों के मध्य विभवान्तर \(240\, volts\) रह जाता है तो \(2\) और \(3\) सैकण्डों पश्चात् प्लेटों के मध्य विभवान्तर क्रमश: होगा