NEET Test Series from KOTA - 10 Papers In MS WORD
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06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202695
एक बल \(\overrightarrow {\;F} = (5\hat i + 3\hat j + 2\hat k)N\) किसी कण पर आरोपित किया जाता है, जो कण को मूल बिन्दु से बिन्दु \(\overrightarrow {\;r\,} = (2\hat i - \hat j)m\) मी तक विस्थापित कर देता है, कण पर किया गया कार्य (जूल में) होगा
1 \(-7\)
2 \(+7\)
3 \(+10\)
4 \(+13\)
Explanation:
\(W = \overrightarrow F .\overrightarrow {\;r} = (5\hat i + 3\hat j + 2\hat k).(2\hat i - \hat j) = 10 - 3 = 7\,J\)
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202696
यदि एक बल \(\overrightarrow {\;F} = 4\hat i + 5\hat j\) के द्वारा उत्पन विस्थापन \(\overrightarrow {\;s} = 3\hat i + 6\hat k\) हो, तो सम्पादित कार्य है
1 \(4 \times 6\) इकाई
2 \(6 \times 3\) इकाई
3 \(5 \times 6\) इकाई
4 \(4 \times 3\)इकाई
Explanation:
\(W = \overrightarrow F .\overrightarrow {\;s} = (4\hat i + 5\hat j + 0\hat k).(3\hat i + 0\hat j + 6\hat k)\) \( = 4 \times 3\) इकाई
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202697
एक व्यक्ति पृथ्वीतल (घर्षण रहित) पर स्थित किसी बिन्दु से गति प्रारंभ कर विकर्णत: विपरीत बिंदु पर पहुँचता है। उसके द्वारा किया गया कार्य है
1 शून्य
2 धनात्मक
3 ऋणात्मक
4 कुछ नहीं कहा जा सकता
Explanation:
चूँकि सतह चिकनी है, अत: घर्षण के विरुद्ध किया गया कार्य शून्य होगा तथा विस्थापन व गुरुत्वीय बल परस्पर लम्बवत् हैं, अत: गुरुत्व के विरुद्ध किया गया कार्य शून्य होगा।
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202698
किसी लकड़ी के गुटके को एक नत समतल पर खींचना, उसे ऊध्र्वाधर ऊपर की ओर खींचने से आसान होता है, क्योंकि
1 घर्षण कम हो जाता है
2 द्रव्यमान कम हो जाता है
3 भार के थोड़े भाग को खींचना होता है
4 \(‘g’\) कम हो जाता है
Explanation:
ऊध्र्वाधरत: खींचने में लगने वाला प्रतिरोधी बल \(= mg\) परन्तु नत तल पर कार्यरत प्रतिरोधी बल \(mg\, sin \theta \) होता है, जो कि \(mg\) से कम है।
202695
एक बल \(\overrightarrow {\;F} = (5\hat i + 3\hat j + 2\hat k)N\) किसी कण पर आरोपित किया जाता है, जो कण को मूल बिन्दु से बिन्दु \(\overrightarrow {\;r\,} = (2\hat i - \hat j)m\) मी तक विस्थापित कर देता है, कण पर किया गया कार्य (जूल में) होगा
1 \(-7\)
2 \(+7\)
3 \(+10\)
4 \(+13\)
Explanation:
\(W = \overrightarrow F .\overrightarrow {\;r} = (5\hat i + 3\hat j + 2\hat k).(2\hat i - \hat j) = 10 - 3 = 7\,J\)
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202696
यदि एक बल \(\overrightarrow {\;F} = 4\hat i + 5\hat j\) के द्वारा उत्पन विस्थापन \(\overrightarrow {\;s} = 3\hat i + 6\hat k\) हो, तो सम्पादित कार्य है
1 \(4 \times 6\) इकाई
2 \(6 \times 3\) इकाई
3 \(5 \times 6\) इकाई
4 \(4 \times 3\)इकाई
Explanation:
\(W = \overrightarrow F .\overrightarrow {\;s} = (4\hat i + 5\hat j + 0\hat k).(3\hat i + 0\hat j + 6\hat k)\) \( = 4 \times 3\) इकाई
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202697
एक व्यक्ति पृथ्वीतल (घर्षण रहित) पर स्थित किसी बिन्दु से गति प्रारंभ कर विकर्णत: विपरीत बिंदु पर पहुँचता है। उसके द्वारा किया गया कार्य है
1 शून्य
2 धनात्मक
3 ऋणात्मक
4 कुछ नहीं कहा जा सकता
Explanation:
चूँकि सतह चिकनी है, अत: घर्षण के विरुद्ध किया गया कार्य शून्य होगा तथा विस्थापन व गुरुत्वीय बल परस्पर लम्बवत् हैं, अत: गुरुत्व के विरुद्ध किया गया कार्य शून्य होगा।
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202698
किसी लकड़ी के गुटके को एक नत समतल पर खींचना, उसे ऊध्र्वाधर ऊपर की ओर खींचने से आसान होता है, क्योंकि
1 घर्षण कम हो जाता है
2 द्रव्यमान कम हो जाता है
3 भार के थोड़े भाग को खींचना होता है
4 \(‘g’\) कम हो जाता है
Explanation:
ऊध्र्वाधरत: खींचने में लगने वाला प्रतिरोधी बल \(= mg\) परन्तु नत तल पर कार्यरत प्रतिरोधी बल \(mg\, sin \theta \) होता है, जो कि \(mg\) से कम है।
202695
एक बल \(\overrightarrow {\;F} = (5\hat i + 3\hat j + 2\hat k)N\) किसी कण पर आरोपित किया जाता है, जो कण को मूल बिन्दु से बिन्दु \(\overrightarrow {\;r\,} = (2\hat i - \hat j)m\) मी तक विस्थापित कर देता है, कण पर किया गया कार्य (जूल में) होगा
1 \(-7\)
2 \(+7\)
3 \(+10\)
4 \(+13\)
Explanation:
\(W = \overrightarrow F .\overrightarrow {\;r} = (5\hat i + 3\hat j + 2\hat k).(2\hat i - \hat j) = 10 - 3 = 7\,J\)
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202696
यदि एक बल \(\overrightarrow {\;F} = 4\hat i + 5\hat j\) के द्वारा उत्पन विस्थापन \(\overrightarrow {\;s} = 3\hat i + 6\hat k\) हो, तो सम्पादित कार्य है
1 \(4 \times 6\) इकाई
2 \(6 \times 3\) इकाई
3 \(5 \times 6\) इकाई
4 \(4 \times 3\)इकाई
Explanation:
\(W = \overrightarrow F .\overrightarrow {\;s} = (4\hat i + 5\hat j + 0\hat k).(3\hat i + 0\hat j + 6\hat k)\) \( = 4 \times 3\) इकाई
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202697
एक व्यक्ति पृथ्वीतल (घर्षण रहित) पर स्थित किसी बिन्दु से गति प्रारंभ कर विकर्णत: विपरीत बिंदु पर पहुँचता है। उसके द्वारा किया गया कार्य है
1 शून्य
2 धनात्मक
3 ऋणात्मक
4 कुछ नहीं कहा जा सकता
Explanation:
चूँकि सतह चिकनी है, अत: घर्षण के विरुद्ध किया गया कार्य शून्य होगा तथा विस्थापन व गुरुत्वीय बल परस्पर लम्बवत् हैं, अत: गुरुत्व के विरुद्ध किया गया कार्य शून्य होगा।
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202698
किसी लकड़ी के गुटके को एक नत समतल पर खींचना, उसे ऊध्र्वाधर ऊपर की ओर खींचने से आसान होता है, क्योंकि
1 घर्षण कम हो जाता है
2 द्रव्यमान कम हो जाता है
3 भार के थोड़े भाग को खींचना होता है
4 \(‘g’\) कम हो जाता है
Explanation:
ऊध्र्वाधरत: खींचने में लगने वाला प्रतिरोधी बल \(= mg\) परन्तु नत तल पर कार्यरत प्रतिरोधी बल \(mg\, sin \theta \) होता है, जो कि \(mg\) से कम है।
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06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202695
एक बल \(\overrightarrow {\;F} = (5\hat i + 3\hat j + 2\hat k)N\) किसी कण पर आरोपित किया जाता है, जो कण को मूल बिन्दु से बिन्दु \(\overrightarrow {\;r\,} = (2\hat i - \hat j)m\) मी तक विस्थापित कर देता है, कण पर किया गया कार्य (जूल में) होगा
1 \(-7\)
2 \(+7\)
3 \(+10\)
4 \(+13\)
Explanation:
\(W = \overrightarrow F .\overrightarrow {\;r} = (5\hat i + 3\hat j + 2\hat k).(2\hat i - \hat j) = 10 - 3 = 7\,J\)
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202696
यदि एक बल \(\overrightarrow {\;F} = 4\hat i + 5\hat j\) के द्वारा उत्पन विस्थापन \(\overrightarrow {\;s} = 3\hat i + 6\hat k\) हो, तो सम्पादित कार्य है
1 \(4 \times 6\) इकाई
2 \(6 \times 3\) इकाई
3 \(5 \times 6\) इकाई
4 \(4 \times 3\)इकाई
Explanation:
\(W = \overrightarrow F .\overrightarrow {\;s} = (4\hat i + 5\hat j + 0\hat k).(3\hat i + 0\hat j + 6\hat k)\) \( = 4 \times 3\) इकाई
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202697
एक व्यक्ति पृथ्वीतल (घर्षण रहित) पर स्थित किसी बिन्दु से गति प्रारंभ कर विकर्णत: विपरीत बिंदु पर पहुँचता है। उसके द्वारा किया गया कार्य है
1 शून्य
2 धनात्मक
3 ऋणात्मक
4 कुछ नहीं कहा जा सकता
Explanation:
चूँकि सतह चिकनी है, अत: घर्षण के विरुद्ध किया गया कार्य शून्य होगा तथा विस्थापन व गुरुत्वीय बल परस्पर लम्बवत् हैं, अत: गुरुत्व के विरुद्ध किया गया कार्य शून्य होगा।
06. WORK ENERGY AND POWER (HM)
202698
किसी लकड़ी के गुटके को एक नत समतल पर खींचना, उसे ऊध्र्वाधर ऊपर की ओर खींचने से आसान होता है, क्योंकि
1 घर्षण कम हो जाता है
2 द्रव्यमान कम हो जाता है
3 भार के थोड़े भाग को खींचना होता है
4 \(‘g’\) कम हो जाता है
Explanation:
ऊध्र्वाधरत: खींचने में लगने वाला प्रतिरोधी बल \(= mg\) परन्तु नत तल पर कार्यरत प्रतिरोधी बल \(mg\, sin \theta \) होता है, जो कि \(mg\) से कम है।